कोर्ट ने आरोपी को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया
ऊना,ब्यूरो रिपोर्ट
हिमाचल प्रदेश स्टेट विजिलेंस और एंटी करप्शन ब्यूरो की ओर से 10000 रुपये की रिश्वत लेते रंगे हाथों पकड़े गए जिला श्रम अधिकारी रणवीर सिंह ढटवालिया को सोमवार के दिन दोबारा अदालत में पेश किया गया।
जहां से कोर्ट ने आरोपी को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया।जिला श्रम अधिकारी ऊना के रिश्वत मामले में संलिप्तता होने की सूरत में सस्पेंड करने के लिए पत्र श्रम एवं रोजगार विभाग सचिव प्रियंका वासु को भेजा गया गया है। बता दें कि इससे पहले आरोपी रणवीर सिंह तीन दिन के पुलिस रिमांड पर चल रहा था। विजिलेंस की कार्रवाई टाहलीवाल औद्योगिक क्षेत्र के एक लेबर ठेकेदार की शिकायत पर की गई थी। शिकायतकर्ता रजत कुमार टाहलीवाल औद्योगिक क्षेत्र में एक लेबर ठेकेदार है। रजत कुमार ने विजिलेंस को दी शिकायत में बताया कि उसका लेबर लाइसेंस रिन्यू करने के एवज में जिला श्रम अधिकारी रणवीर सिंह ने उससे 10000 रुपये की रिश्वत मांगी। शिकायत के आधार पर विजिलेंस ने जाल बिछाया और तय योजना के तहत शिकायतकर्ता को श्रम अधिकारी के पास भेजा।
जैसे ही श्रम अधिकारी ने रिश्वत की रकम अपने हाथ में ली, विजिलेंस की टीम तुरंत हरकत में आई और आरोपी को रंगे हाथों पकड़ लिया। यह कार्रवाई जिला श्रम अधिकारी के कार्यालय में हुई।गौरतलब है कि आरोपी रणवीर सिंह के खिलाफ पहले भी एक भ्रष्टाचार का मामला दर्ज है। दो फरवरी 2022 को एक मामले की तहत उन पर 26000 रुपये की रिश्वत लेने का आरोप है। वह यह रिश्वत हिमाचल प्रदेश दुकानों और वाणिज्यिक प्रतिष्ठान अधिनियम, 1969 के तहत रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट जारी करने के बदले ले रहा था। डीएसपी विजिलेंस एंड एंटी करप्शन ब्यूरो फिरोज खान ने बताया कि आरोपी से पूछताछ जारी है। साथ ही, उसके बैंक खातों और अन्य ठिकानों की भी जांच की जाएगी। विजिलेंस यह भी पता लगा रही है कि क्या आरोपी ने अन्य व्यक्तियों से भी अवैध रूप से धन उगाही की है।
0 Comments