ऊना में 45 परिवार नहीं डालेंगे वोट,पुल न बनने से रोष
ऊना,ब्यूरो रिपोर्ट
जिला मुख्यालय ऊना की नजदीकी ग्राम पंचायत जलग्रां टब्बा के रक्कड़ वार्ड-5 में ग्रामीणों ने लोकसभा चुनाव का बहिष्कार कर दिया है। ग्रामीणों का आरोप है कि गांव के बीचों-बीच से गुजरी रेल लाइन के चलते उनके अपने ही परिवार दो भागों में बंटकर रह गए हैं। दोनों ही पक्षों की जमीनें लाइन के आर-पार पड़ती हैं। इसके चलते ग्रामीणों को महज 150 मीटर की दूरी 12 किलोमीटर घूम कर तय करनी पड़ रही है।
ग्रामीणों ने बताया कि उनकी सुविधा के लिए इस रेल लाइन पर एक पुल प्रस्तावित किया गया था, जिसका रेलवे द्वारा सर्वेक्षण भी कर लिया गया है, लेकिन आज दिन तक यह पुल न बनने के चलते लोग नरक जैसा जीवन जीने को मजबूर हैं। लोगों के अनुसार चुनावों के समय विभाग व नेतागण जब वोट मांगने आते हैं, तो उनके लिए पुल बनाने की झूठे वादे करते हैं।स्थानीय पंचायत के पूर्व प्रधान अवतार सिंह ने कहा कि रक्कड़ वार्ड-5 में दोनों तरफ करीब 40 से 45 परिवार हैं और 200 से अधिक वोट है।अगर यह लोग चुनावों का बहिष्कार करते हैं, तो एक साथ 200 मतों का बहिष्कार होगा। ये लोग पिछले लंबे समय से अपनी मांगों को लेकर रेलवे विभाग व अन्य नेताओं के समक्ष उठाते आ रहे हैं, लेकिन चुनावों के समय इन्हें सिर्फ आश्वासन ही मिलते रहे हैं।खेतों में जाने के लिए तय करना पड़ता है 12 किलोमीटर का सफर ,रेलवे लाइन के पार लोगों को जमीन होने के कारण उन्हें हर दूसरे-चौथे दिन फसलों की रखवाली, देखभाल व अन्य कृषि कार्यों के लिए जाना पड़ता है, तो उन्हें 12 किलोमीटर घूमकर अपने खेतों में पहुंचना पड़ता है। अब गेहूं की फसल की कटाई के बाद उन्हें पैदावार, तूड़ी को घर पर पहुंचाने के लिए बड़ी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।
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