प्रदेश के सात जिलों में पहली बार आलू की फसल का बीमा होगा
चम्बा,ब्यूरो रिपोर्ट
हिमाचल प्रदेश के सात जिलों में पहली बार आलू की फसल का बीमा होगा। किसान 500 रुपये देकर एक बीघा जमीन पर फसल का बीमा करवा सकते हैं। सबसे अहम बात यह है कि फसल को नुकसान होने की सूरत में किसानों को किसी भी प्रकार की कागजी कार्रवाई पूरी नहीं करनी होगी। नुकसान का अनुमान लगाने के बाद बीमा कंपनी किसान को 10 हजार रुपये तक क्लेम देगी। सरकार और कृषि विभाग ने बारिश, सूखा और फसल को कीड़ा लगने की स्थिति में नुकसान से उबारने के लिए यह सार्थक पहल की है।
फसलों के बीमा को लेकर चंबा जिले के विभिन्न ब्लॉक चयनित किए गए हैं। किसानों को 31 जनवरी, 2024 तक आलू की फसल का बीमा करवाना होगा। जिले का भौगोलिक क्षेत्रफल लगभग 692 हजार हेक्टेयर है। इसमें केवल 41.80 हेक्टेयर भूमि पर ही खेती की जाती है। इसके अतिरिक्त अमूमन 1200 बीघा भूमि पर आलू की फसल उगाई जाती है। जिला के पांगी,सलूणी, तीसा, चंबा और भटियात में किसान आलू की बिजाई करने के बाद फसल को स्थानीय के अलावा बाहरी मंडियों में बेचते हैं।उधर, भारतीय कृषि बीमा कंपनी के जिला समन्वयक भुवनेश कुमार ने बताया कि आलू की फसल के लिए जिले के भरमौर, चंबा, पांगी, सलूणी और चंबा को चयनित किया गया है। कृषि विभाग के उपनिदेशक कुलदीप धीमान ने बताया कि आलू फसल का बीमा होगा। इसका मुख्य उद्देश्य किसानों को मेहनत के अनुसार अधिक से अधिक लाभ देना होगा।
आलू की फसल का बीमा करवाने के लिए किसानों के पास बैंक पास बुक, जमाबंदी, आधार कार्ड नंबर और मोबाइल नंबर होना अनिवार्य है।जिन किसानों ने क्रेडिट कार्ड या ऋण लिया है, उनकी फसल का बीमा स्वत: ही बैंक की ओर से कर दिया जाएगा। जिन किसानों ने ऋण नहीं लिया है, वे लोकमित्र केंद्रों में जाकर बीमा करवा सकते हैं। इसके अलावा योजना के पोर्टल पर भी फसलों का बीमा कर सकते हैं। इसके अलावा अधिक जानकारी के लिए किसान हेल्पलाइन नंबर 1800116515 पर संपर्क कर सकते हैं।चंबा में 31 जनवरी 2024, कांगड़ा में शीतकालीन 31 अगस्त 2024 और अन्य 31 जनवरी 2024, सोलन 29 फरवरी 2024, सिरमौर 1 जनवरी 2024, मंडी 15 मार्च 2024 और शिमला 31 दिसंबर 2023 तक आलू का बीमा होगा। ऊना में 31 दिसंबर 2023 किसान फसल का बीमा करवा सकते हैं।
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