22 हजार कर्मियों के वेतन के लिए 42.49 करोड़ जारी
शिमला,रिपोर्ट नीरज डोगरा
शुक्रवार को हिमाचल सरकार ने सभी जिलों को बजट जारी कर दिया है। एक-दो दिन में स्कूलों को धनराशि मिल जाएगी। मिड डे मील वर्करों के वेतन पर 26 करोड़ और बच्चों के भोजन पर 16 करोड़ रुपये खर्च होंगे।हिमाचल प्रदेश के सरकारी स्कूलों में नर्सरी से आठवीं कक्षा तक पढ़ने वाले करीब 5.50 लाख बच्चों के दोपहर के भोजन और भोजन तैयार करने वाले 22 हजार कर्मियों के वेतन के लिए 42.49 करोड़ रुपये जारी हो गए हैं। शुक्रवार को हिमाचल सरकार ने सभी जिलों को बजट जारी कर दिया है।
एक-दो दिन में स्कूलों को धनराशि मिल जाएगी। मिड डे मील वर्करों के वेतन पर 26 करोड़ और बच्चों के भोजन पर 16 करोड़ रुपये खर्च होंगे। केंद्र सरकार ने प्रधानमंत्री पोषण योजना के तहत 22 करोड़ की पहली किस्त जारी की है। शेष 20 करोड़ की राशि राज्य सरकार की ओर से दी गई है।शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने बताया कि स्कूली बच्चों को पोषणयुक्त भोजन उपलब्ध करवाने के लिए सरकार प्रयासरत है। नर्सरी से पांचवीं कक्षा तक के बच्चों को भोजन देने के लिए प्रतिदिन प्रति बच्चा 5.45 रुपये और अपर प्राइमरी में 8.17 रुपये खर्च किए जाते हैं। सप्ताह के छह दिन अलग-अलग प्रकार का भोजन बच्चों को परोसा जाता है। इसके लिए स्कूलों में विशेष मेन्यू बनाया गया है। पहले सप्ताह के सोमवार को साबुत मूंग दाल और चावल, मंगलवार को सब्जी के साथ सोया पुलाव, बुधवार को राजमा चावल, वीरवार को चना दाल और सब्जी के साथ खिचड़ी, शुक्रवार को उड़द दाल और चावल, शनिवार को काले चने और चावल तैयार किए जाते हैं।
इसी प्रकार दूसरे सप्ताह के सोमवार को मिक्स दाल और चावल, मंगलवार को काले चने और दाल, बुधवार को मूंग दाल और सब्जी व चावल, वीरवार को सब्जी व सोया पुलाव, शुक्रवार को राजमा और चावल या कढ़ी तैयार होती है। सभी बच्चों को पौष्टिक आहार मुहैया करवाने के लिए भारत सरकार की ओर से इस योजना को चलाया जा रहा है। प्रदेश सरकार को इसके लिए केंद्र सरकार की ओर से बजट जारी किया जाता है। इस बार केंद्र से बजट जारी होने में तकनीकी कारणों से काफी देरी हुई है। इसको लेकर शिक्षा निदेशालय के अधिकारी बीते दिनों दिल्ली भी गए थे। जिसके बाद केंद्र सरकार ने बजट जारी कर दिया है।
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