हिमाचल के बरोटीवाला में धंसा गांव
काँगड़ा,रिपोर्ट नेहा धीमान
हिमाचल प्रदेश में बारिश और भूस्खलन से तबाही का सिलसिला जारी है। सोमवार को सोलन के बरोटीवाला में सौड़ी पंचायत का माजरी गांव धंस गया है। गांव में आधा किलोमीटर तक लंबी दरार पड़ गई है। बायला पंचायत के कटल पकोटी गांव में भी दस घरों में दरारें आ गई हैं। सभी घरों को खाली करवा दिया है। दोनों क्षेत्रों में 17 परिवार बेघर हो गए हैं। कांगड़ा जिला की ग्राम पंचायत नियांगल में जमीन धंसने से पांच और मकान जमींदोज हो गए हैं।
चंडीगढ़-मनाली नेशनल हाईवे पर अस्थायी सड़क धंसने से वाहनों की आवाजाही फिर से ठप हो गई है। अब वाया कमांद सुबह दो घंटे मंडी से कुल्लू और शाम को दो घंटे कुल्लू से मंडी के लिए बड़े वाहन चलेंगे। कुल्लू-पंडोह-चेलचौक-गोहर-सुंदरनगर व कुल्लू-औट-पंडोह सड़क छोटे वाहनों के लिए बहाल हो गई है। किन्नौर जिले की उरनी ढांक के पास सोमवार सुबह 7:00 बजे चट्टानें गिरने से एनएच पांच ठप रहा। शिमला में बारिश की वजह से सीएम सुखविंद्र सिंह सुक्खू का मंडी दौरा भी रद्द हो गया। सोमवार शाम तक प्रदेश में 344 सड़कों पर आवाजाही ठप रही। प्रदेश भर में आठ घर ढह गए जबकि 17 क्षतिग्रस्त हुए हैं।प्रदेश में जारी बरसात से अभी तक 8099 करोड़ रुपये का नुकसान हो चुका है। केंद्र की टीम ने सोमवार को सोलन के धर्मपुर के सिहारड़ी और रड़ो पैंद गांव का निरीक्षण किया। तहसीलदार से नुकसान की जानकारी ली गई। एक माह पहले इस गांव में कई घर टूट गए थे। मुख्यमंत्री भी इस क्षेत्र का दौरा कर चुके हैं।वहीं, जिला प्रशासन के द्वारा नेशनल हाइवे चंडीगढ मनाली पर मंडी से लेकर पंडोह के तहत छह मील से लेकर नौ मील तक मार्ग का कुछ हिस्सा रोजाना तीन घंटे तक बंद रखने का निर्णय लिया है।
प्रशासन के मताबिक छह मील से नौ मील तक बादल फटने और भूस्खलन के कारण बहुत ज्यादा क्षतिग्रस्त हो गया है।ऐसे में सड़क की तुरंत मुरम्मत और बहाली की सख्त आवश्यकता को देखते हुए जिलाधीश मंडी अरिंदम चौधरी ने आगामी आदेशों तक रोजाना इसे सुबह 11 बजे से लेकर दोपहर 2 बजे तक बंद रखने के आदेश जारी किए हैं। इन तीन घंटों में सड़क के इस हिस्से में वाहनों की आवाजाही पूर्ण रूप से प्रतिबंधित रहेगी।प्रदेश में मंगलवार को बारिश का येलो और 23 व 24 अगस्त को भारी बारिश का ऑरेंज अलर्ट जारी हुआ है। 25 अगस्त तक प्रदेश में बारिश का दौर जारी रहने का पूर्वानुमान है। समरहिल के शिव मंदिर में हुई भूस्खलन के सातवें दिन भी लापता तीन लोगों का पता नहीं चल पाया। हादसे के बाद 20 लोग लापता हो गए थे, लेकिन समायरा, पवन और नीरज का अभी तक भी पता नहीं चल पाया है। प्रशासन की ओर से सुबह 7:00 बजे से लोगों की तलाश के लिए अभियान चलाया गया, लेकिन सफलता नहीं मिली। पुलिस जवानों ने प्रदेश में आई आपदा के समय बखूबी से ड्यूटी निभाई और 24 घंटे सेवा में तत्पर रहे। इस वजह से प्रदेश में जानमाल के नुकसान को कम किया गया। यह बात पुलिस महानिदेशक संजय कुंडू ने ज्वालामुखी में कही। पुलिस महानिदेशक संजय कुंडू नवरात्रों के बीच दर्शनों के लिए पहुंचे। इस दौरान उन्होंने सुरक्षा व्यवस्था का जायजा भी लिया। मंदिर न्यास ने उन्हें माता की चुनरी और तस्वीर भी भेंट की। कुंडू ने बताया कि इस बार मानसून में ब्यास और सतलुज नदी के किनारों पर बसे कुल्लू, मंडी, कांगड़ा आदि जिलों में भारी बारिश हुई। इस वजह से इन जिलों में काफी नुकसान हुआ है।
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