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आजादी के अमृत महोत्सव का कार्यक्रम आयोजित शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित करके शहीदों के परिजनों को किया सम्मानित

जोगिंदरनगर ,जतिन लटावा 
आजादी के अमृत महोत्सव का कार्यक्रम बाबा मच्छिंदर नाथ मंदिर मच्छयाल में ग्राम पंचायत चलहारग की प्रधान श्रीमती सावित्री देवी उप प्रधान कांशी राम शर्मा और सदस्य श्रीमती पार्वती देवी साथ में अज्युध्या देवी और राष्ट्रीय स्वयं सेवा संघ के सदस्य धर्मवीर,  प्रताप  ,  प्रवीण  और मुख्य प्रवक्ता  रामलाल  व अन्य कार्यकर्ताओं ने भारत माता का पूजन कर शहीदों के नाम पर दीप प्रज्वलित किया। 
उनके लिए भावविनी श्रद्धांजलि अर्पित करके शहीदों के परिजनों को सम्मानित किया।

यह किए गए सम्मानित

1) शहीद गरीबदास यह 1962 के भारत चीन युद्ध में शहीद हुए थे । इनके भाई श्री बृजलाल शर्मा जी को सम्मानित किया गया।
2) शहीद गोविंद सिंह निवासी छो यह 2004 में जम्मू कश्मीर में शहीद हुए थे। इनके पिता श्री प्रेम सिंह जी को सम्मानित किया गया।
3) शहीद संजय कुमार यह जम्मू कश्मीर में शहीद हुए थे। इनके पिता श्री आलम राम जी को सम्मानित किया गया।
4) शहीद श्री भाग सिंह गांव छो रोपी यह डीआरडी में थे। मनाली में यह शहीद हुए थे। इनकी धर्मपत्नी सरस्वती देवी को सम्मानित किया गया
5) शहीद मनोहर लाल अल्मरा गांव से यह उधमपुर जम्मू कश्मीर में शहीद हुए थे। उनके भाई रणवीर ठाकुर जी को सम्मानित किया गया।
6) शहीद ओम प्रकाश छौ  गांव से यह जम्मू कश्मीर के रजौरी में शहीद हुए थे। उनकी धर्मपत्नी श्रीमती पुष्पा देवी को सम्मानित किया गया।
7) शहीद उधम सिंह  जी गांव चल्हारग से यह जम्मू कश्मीर श्रीनगर मैं शहीद हुए थे। इनकी धर्मपत्नी श्रीमती शारदा देवी को सम्मानित किया गया।
8) शहीद कश्मीर सिंह यह 2014 में बंगाल में शहीद हुए थे । इनकी धर्मपत्नी श्रीमती अनीता देवी जी को सम्मानित किया गया।
सभी आए हुए परिजनों ने भारत माता की प्रतिमा के साथ में शहीदों की प्रतिमाओं पर दीप ज्योति प्रज्वलित कर नम आंखों से श्रद्धा सुमन अर्पित किए और साथ में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के कार्यकर्ता भी इस कार्यक्रम में शामिल रहे। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रवक्ता श्री रामलाल जी ने भी आजादी के उन वीरों को याद किया जिनकी वजह से हमारा देश सदियों से गुलामी की जंजीरों से जकड़ा हुआ  आजाद हुआ। दूसरे श्री मनोज जी ने अपनी मधुर वाणी से एक कविता का गायन कर आजादी के विषय में बताया कि कितने ही वीरों के बलिदानों से हमें आजादी मिली है। 
शहीदों की चिताओं पर लगेंगे हर वर्ष मेले। वतन पर मिटने वालों का यही बाकी निशां होगा ।

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