नूरपुर - संजीव महाजन
कर्मचारियों ने काले बिल्ले लगा कर की ड्यूटी
जिला कांगड़ा के विभिन्न खंडों के लगभग 20 हजार एनपीएस कर्मचारियों ने काले रिबन लगाकर न्यू पेंशन स्कीम का विरोध दर्ज किया कांगड़ा जिला प्रधान रजिंदर मन्हास ने बताया कि लगभग सभी विभागों के कर्मचारी शनिवार सुबह से काला रिबन लगाकर अपनी ड्यूटी पर उपस्थित हुए और वर्क फ्रॉम होम कर रहे एनपीएस कर्मचारियों ने भी घर पर अपने परिवार सहित काला रिबन लगा कर एनपीएस का विरोध दर्ज किया ।
मीडिया प्रभारी पंकज शर्मा ने बताया कि एनपीएस को हिमाचल में तत्कालीन वीरभद्र सरकार ने 2006 में हिमाचल में एनपीएस लागू करने की अधिसूचना निकाली जिसे 15 मई 2003 से लागू किया जिसके विरोध में कर्मचारी हर साल 15 मई को काले बिल्ले लगा एनपीएस का विरोध दर्ज करते हैं उन्होंने कहा कि एनपीएस किसी भी कीमत पर कर्मचारियों को मंजूर नही है कर्मचारियों का पैसा इसी स्कीम के तहत शेयर मार्किट में जबरदस्ती लगाया जा रहा है और रिटायर होने पर बहुत कम पेंशन कर्मचारियों को मिल रही है।
राज्य वरिष्ठ उपाध्यक्ष सौरभ वैद्य, मुख्य प्रवक्ता सुभाष शर्मा, राज्य महिला विंग महासचिब ज्योतिका मेहरा, महिला विंग संगठन सचिब पूजा सबरवाल और राज्य महिला विंग उपाध्यक्ष मोनिका राणा ने कहा कि बजट सत्र के दौरान प्रदेश सरकार ने नई पेंशन स्कीम कर्मचारियों की अनदेखी की है किये वायदे भी सरकार ने पूरे नही किये उन्होंने कहा कि पिछले कुछ दिनों में लगभग 17 कर्मचारियों की कोरोना से मौत हुई है जिनमे अधिकतर कोरोना वायरस का शिकार सेवा के दौरान हुए हैं कांगड़ा बरिष्ठ उपाध्यक्ष संतोष पराशर, महासचिब अनीश धीमान, जिला कांगड़ा उपाध्यक्ष विकास नंदा , कोषाध्यक्ष वीरेश भारती,जिला कांगड़ा मीडिया प्रभारी अलका गिल , जिला कांगड़ा महिला विंग प्रधान पवना राणा ने कहा की बड़े दुख की बात है कि अभी तक भी प्रदेश सरकार में कर्मचारियों की जायज मांगों के लिए भी उनसे वार्ता करना जरूरी नहीं समझा उन्होंने कहा कि कर्मचारियों की मांग है 2009 की केंद्र की अधिसूचना तत्काल सरकार हिमाचल के कर्मचारियों पर लागू करें जिसके तहत कर्मचारी की मौत पर परिवार को परिवारिक पेंशन का प्रावधान है।
इसके साथ कर्मचारियों की यह भी मांग है कि विजन डॉक्यूमेंट के अनुसार पेंशन बहाली के लिए कमेटी का गठन भी प्रदेश सरकार अति शीघ्र करें सभी ने प्रदेश सरकार आग्रह किया कि यह मांगे अति शीघ्र पूरी नही हुई तो एसोसिएशन और भी कठोर कदम उठाने को मजबूर होगी
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